जहा बिहार एक ओर डेंगू का सामना कर रहा है वही दूसरी ओर छठ महापर्व पर दूसरे राज्यों से लोगों के घर आने से कोरोना का भी खतरा बढ़ गया है। दक्षीण भारत के साथ कोरोना…
जहा बिहार एक ओर डेंगू का सामना कर रहा है वही दूसरी ओर छठ महापर्व पर दूसरे राज्यों से लोगों के घर आने से कोरोना का भी खतरा बढ़ गया है। दक्षीण भारत के साथ कोरोना प्रभावित प्रदेशों से आ रहे लोग अपने साथ कोरोना वायरस भी ला सकते हैं। बता दे कि आज से बिहार में पटना समेत कई जिलों के रेलवे स्टेशनों पर कोराना जांच शुरू कर दी गई है।
विशेषज्ञों के अनुसार डेंगू और कोराना में पीड़ित होने की स्थितियां और कारण अलग हों लेकिन लक्षण लगभग समान हैं। इसलिए इसे लेकर डॉक्टर बताते हैं कि डेंगू में बुखार से यदि अधिक कमजोरी हो तो कोरोना जांच अवश्य करा ले। वही अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, पटना के विशेषज्ञ चिकित्सकों का कहना है डेंगू पीड़ित को स्पर्श करने से डेंगू नहीं होता।
इसके अलावा डॉक्टरों का कहना है कि डेंगू पीड़ित को कोरोना भी हो सकता है। बुखार से ज्यादा कमजोरी महसूस होने पर कोरोना जांच कराने से बीमारी की स्पष्ट पहचान हो सकती है। वही विशेषज्ञों के अनुसार बिहार में अभी डेंगू के मौजूदा वेरिएंट-1 का प्रकोप अधिक है। इसमें तेज बुखार के बाद तीसरे दिन से प्लेटलेट्स में कमी आ रही है। साथ ही, डेंगू बुखार के दौरान पहले मरीज के शरीर में श्वेत रक्त कणिका (WBC) की कमी हो जा रही है। इसके कारण रोग प्रतिरोधक क्षमता कम होने लगती है। जिसके 3 दिन बाद प्लेटलेट्स भी घटने लग रहा है।
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मैं कानपुर से हूँ। अमर उजाला व दैनिक जागरण में पिछले 17 सालों से जुड़ा था । मैं दिल्ली, मेरठ और कानपुर में अखबार की टीम हैंडल कर चुका हूं। नोयडा अमर उजाला में ब्यूरो चीफ और मेरठ में अमर उजाला के कॉम्पेक्ट अखबार का एडिटोरियल हेड था। न्यूज़ कंपनी News Jangal Media Pvt. Ltd. चला रहा हूँ। 2019 से मैं Pebble में बतौर रेजिडेंट एडिटर, कानपुर भी काम कर चुका हूं।