दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण रोकने के ल‍िए किये गए ये काम, दीवाली से पहले खराब एयर क्‍वाल‍िटी को लेकर NGT का बड़ा दखल

एनजीटी ने राष्ट्रीय राजधानी में बढ़ते वायु प्रदूषण को देखते हुए और खराब आबोहवा के कारण नवजात शिशुओं, बच्चों और वरिष्ठ नागरिकों को स्वास्थ्य संबंधी खतरे के मद्देनजर एनजीटी ने खुद मामले में संज्ञान ल‍िया है

News jungal desk :दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण को लेकर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) ने खुद संज्ञान ल‍िया है । खराब वायु गुणवत्ता को लेकर एनजीटी का बड़ा दखल देते हुए केन्‍द्रीय पर्यावारण मंत्रालय समेत चार व‍िभागों को नोट‍िस जारी कर जवाब मांगा गया है ।

दिल्ली एनसीआर में खराब वायु गुणवत्ता के मामले में एनजीटी ने लिया स्वतः संज्ञान ल‍िया और दीवाली से पहले राष्ट्रीय राजधानी में बढ़ते वायु प्रदूषण को लेकर एनजीटी ने सख्त रुख अख्तियार क‍िया है । एनजीटी ने राष्ट्रीय राजधानी में बढ़ते वायु प्रदूषण को देखते हुए और खराब आबोहवा के कारण नवजात शिशुओं, बच्चों और वरिष्ठ नागरिकों को स्वास्थ्य संबंधी खतरे के मद्देनजर एनजीटी ने खुद मामले में संज्ञान ल‍िया है ।

एनजीटी ने केंद्रीय पर्यवारण मंत्रलाय, केंद्रीय पॉल्यूशन नियंत्रण बोर्ड, वायु गुणवत्ता आयोग और डीपीसीसी को नोटिस जारी किया गया है । एनजीटी ने पूछा है क‍ि दिल्ली-एनसीआर की वायु गुणवत्ता को खराब होने से रोकने के लिए उन्होंने जो कार्रवाई की है, उसे पेश करने का निर्देश दिया है । और इस मामले की अगली सुनवाई एनजीटी 8 नवंबर को करेगा ।

वहीं पंजाब में पराली जलाने की रोकथाम और नियंत्रण को लेकर दाखिल याचिका में पंजाब प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने कहा पंजाब में 100% पराली जलाने से रोकने में कम से कम 2 साल और लगेंगे. पंजाब प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने एनजीटी में दाखिल किया हलफनामा और पंजाब सरकार ने कहा पंजाब में पराली जलाने की रोकथाम और नियंत्रण के लिए राज्य सरकार ने कार्य योजना जारी की है । और एनजीटी में पंजाब सरकार ने कहा क‍ि राज्य में पराली जलाने से रोकने के लिए पंजाब सरकार प्रतिबद्ध है ।

एनजीटी ने पंजाब सरकार के मुख्य सचिव को नोटिस जारी किया है. एनजीटी ने पंजाब सरकार से पराली जलाने से रोकने के लिए राज्य सरकार द्वारा बनाई गई कार्य योजना पेश करने के लिए कहा है. एनजीटी 8 नवंबर को करेगा मामले की सुनवाई करेगी. दरअसल, एनजीटी पंजाब में पराली जलाने की रोकथाम और नियंत्रण से संबंधित एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी.

क्‍या कहते हैं द‍िल्‍ली में वायु प्रदूषण के आंकड़े

आंकड़ों से पता चलता है कि दिल्ली में अक्टूबर 2020 के बाद से सबसे अधिक प्रदूषित हो रहा है और आने वाले दिनों में इसमें बहुत कम सुधार की उम्मीद है. पहले 19 दिनों में शहर का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 181.7 है, जो 2022 और 2021 दोनों के औसत से अधिक है. यह 2020 में दर्ज औसत AQI 226.1 से बेहतर है.

पूर्वानुमान के अनुसार, सुधार की संभावना नहीं है, शुक्रवार को AQI के खराब श्रेणी में जाने की उम्मीद है और अगले छह दिनों तक इसके वहीं बने रहने की संभावना है. आईएमडी अधिकारियों के अनुसार, हवा की गति, जो गुरुवार को 6 से 8 किमी/घंटा के बीच थी, शुक्रवार और शनिवार को घटकर 4 से 8 किमी/घंटा हो जाने की उम्मीद है. अधिकारियों ने कहा कि रविवार को मामूली वृद्धि की उम्मीद है, लेकिन एक्यूआई खराब रहेग.

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