बड़े भाई को चोट लगने पर छोटे भाई ने फर्जीवाड़े से हथिया ली नौकरी

0

.एक बार उन्हें डयूटी के दौरान पैर में चोट लगी तो एक माह तक काम पर नहीं जा सके थे . इसी बीच उनका देवर दुसरूवा ने आधार कार्ड व बैंक में उसके पति कुटुरूवा की फोटो बदलकर अपनी फोटो लगवाई और विभागीय सांठगांठ से पति की जगह उनके नाम से ही नौकरी करने लगा.

न्यूज जंगल डेस्क कानपुर : यूपी के चित्रकूट जनपद में लोक निर्माण विभाग में कार्यरत बड़े भाई की जगह छोटे भाई ने फर्जी कागजात तैयार कर पांच साल से ज्यादा समय तक करी नौकरी . इस बीच बड़े भाई की मौत हो गई, लेकिन छोटे भाई ने उसकी जगह सालों नौकरी की और रिटायरमेंट के बाद पेंशन भी उठाने लगा . मामले की जानकारी होने पर मृतक की पत्नी व बहू ने उच्चाधिकारियों से शिकायत कर जांच कराने की मांग की है. और लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता ने तीन सदस्यीय जांच टीम गठित कर मामले में पूरी रिपोर्ट मांग रही है.

मामला राजापुर तहसील क्षेत्र के हरदौली भाऊ पुरवा का है, जहां की रहने वाली कंचनिया देवी ने बताया कि उसके पति कुटुरुवा पीडब्लूडी में बेलदार पद पर तैनात थे. और एक बार उन्हें डयूटी के दौरान पैर में चोट लगी तो एक माह तक काम पर नहीं गये थे . इसी बीच उनका देवर दुसरूवा ने आधार कार्ड व बैंक में उसके पति कुटुरूवा की फोटो बदलकर अपनी फोटो लगवाई और विभागीय सांठगांठ से पति की जगह उनके नाम से ही नौकरी करने लगा था पति की मौत होने के बाद भी उसका देवर नौकरी करता रहा और रिटायरमेंट के बाद अब पेंशन भी ले रहा है. पूरे मामले का खुलासा तब हुआ जब घर में पारिवारिक बंटवारा हुआ तो देवर के नाम के आगे पति का नाम कुटुरूवा देख सभी चौंक उठे. इसके बाद जानकारी की गई तो पूरा मामला सामने आ गया कि किस तरह फर्जीवाड़ा किया गया है .

जांच के लिए गठित हुई तीन सदस्यीय टीम
कंचनिया देवी ने गांव के सचिव व पंचायत मित्र पर भी कागजात में गड़बड़ी कराने के आरोप लगाए हैं. मामले की शिकायत पहाड़ी थाने और पीडब्लूडी के अधिकारियों से कर जांच कराने की मांग को कहा है. पीडब्लूडी के पूर्व अधिशासी अभियंता अरविंद कुमार ने जांच के लिए एई वीरेंद्र प्रताप सिंह की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय जांच टीम बनाई है, और इसमें एई कृष्णस्वरूप व वरिष्ठ सहायक सूर्यकांत सोनी शामिल हैं. और एई वीरेंद्र प्रताप ने बताया कि पहाड़ी ब्लाक से सभी कागजात मांगे गए हैं. विभागीय कागजात की भी जांच हो रही है.

यह भी पढ़े – हिन्दी दिवस पर यहां पढ़ें हिंदी का गौरवगान करतीं कविताएं

About The Author

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *