स्मार्ट सिटी कानपुर में बनेगें अब अंडरग्राउंड कूड़ाघर
न्यूज जंगल डेस्क कानपुर स्मार्ट सिटी कानपुर अब 100 से ज्यादा जगहों पर अंडरग्राउंड कूड़ाघर बनाने की तैयारी में है। सड़कों के किनारे एक भी कूड़ाघर नजर नही आएगा। अंडरग्राउंड टैंक से कूड़ा उठाने के लिए आधुनिक मशीनों का सहारा लिया जाएगा। 150 हॉपर ट्रिपर भी खरीदे जाएंगे।
गंदगी और बदबू से मिलेगी मुक्ति
स्मार्ट सिटी नोडल प्रभारी आरके सिंह ने बताया कि काम्पैक्टर में कूड़ा लोड करने के बाद अंडरग्राउंड टैंकों में उसी जगह बड़े डस्टबिन रखे जाएंगे। सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि जब कूड़ा बाहर नहीं रहेगा तो जानवर भी कूड़ाघर तक नहीं पहुंच पाएंगे। कूड़ा बीनने वालों की पहुंच से भी ये डस्टबिन बाहर रहेंगे। सड़कों पर यातायात भी बाधित नहीं होगा। आसपास के लोगों को बदबू और गंदगी से मुक्ति मिलेगी। पहले चरण में 50 अंडरग्राउंड कूड़ा घर बनाए जाएंगे।
कई इलाकों में स्थिति खराब
अभी जिन वाहनों या ठेलों से कूड़ा अड्डों में कूड़ा फेंका जाता है, उस पर नगर निगम का नियंत्रण नहीं रहता है। प्राइवेट काम करने वाले भी सड़क पर ही कूड़ा फेंककर चले जाते हैं। सुबह जब गाड़ियों से कूड़े का उठान हो जाता है तो भी दोपहर तक कूड़ा फेंकने वालों पर अंकुश नहीं रहता। करीब एक टैंक में 15 टन तक कूड़ा आ जाएगा।
सड़कों पर बिखरा रहता है कूड़ा
शहर में संगीत टॉकीज के पास, जीटी रोड पर जरीब चौकी के पास, ग्वालटोली में सीसामऊ नाले के पास और भैरोघाट रैन बसेरा के पास सड़क पर ही कूड़ा पड़ा रहता है। यही स्थिति यशोदा नगर, किदवई नगर, फजलगंज, श्याम नगर और कल्याणपुर की है। अंडरग्राउंड टैंक बनाए जाने और इन टैंकों में डस्टबिन रखे जाने से इस पर अंकुश लग सकता है।
ये भी देखे विपक्ष पर CM Yogi का तंज, बोले- हम दोबारा सरकार बना कर आएंगे, लेकिन ये तय है कि…
नगर निगम के पास ये संसाधन मौजूद
- कूड़ा उठाने वाले ट्रिपर : 42
- छोटे डंपर प्लेटर हैं : 11
- आठ मीट्रिक टन वाले डंपर : 09
- सबसे छोटे डंपर प्लेटर : 04
- कूड़ा उठाने वाली जेसीबी : 04
- लोडर की संख्या : 10
- नए आए डंपर प्लेसर : 20
- छोटे डंपर प्लेसर : 150
इतने संसाधनों की है जरूरत
- कूड़ा उठाने के लिए और बड़ी गाड़ियां चाहिए : 60
- छोटी गाड़ियां जिन्हें खरीदने का हुआ था प्रस्ताव : 167
- स्मार्ट सिटी के मद से खरीदे जाएंगे हॉपर ट्रिपर : 150