गेमिंग सिर्फ खेल नहीं, आजीविका है

ई-स्पोर्ट्स प्लेयर्स एसोसिएशन ने पीएम मोदी को लिखा पत्र

ऑनलाइन गेमिंग बिल 2025 पर चिंता

लोकसभा में ऑनलाइन गेमिंग बिल 2025 पास होने के बाद, ई-स्पोर्ट्स प्लेयर्स वेलफेयर एसोसिएशन (EPWA) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर इस बिल पर पुनर्विचार का अनुरोध किया।

स्किल बनाम चांस गेम्स का अंतर

एसोसिएशन ने कहा कि बिल में "गेम ऑफ स्किल" और "गेम ऑफ चांस" के बीच अंतर नहीं किया गया है। इससे कौशल-आधारित ई-स्पोर्ट्स और पेशेवर गेमिंग पर भी वही पाबंदी लागू हो सकती है जो बेटिंग गेम्स पर लगाई गई है।

लाखों गेमर्स की रोज़ी-रोटी पर खतरा

EPWA का मानना है कि लाखों भारतीय गेमर्स ई-स्पोर्ट्स, कोचिंग, स्ट्रीमिंग, कंटेंट क्रिएशन और डिजिटल इवेंट्स से अपनी आजीविका चलाते हैं। इस बिल के वर्तमान स्वरूप से उनकी आजीविका खतरे में पड़ सकती है।

चार प्रमुख चिंताएं

खिलाड़ियों की जीविका पर असर

स्किल-आधारित खेलों का गलत वर्गीकरण

ऑफशोर अवैध प्लेटफॉर्म्स की ओर झुकाव

भारत की वैश्विक ई-स्पोर्ट्स छवि पर आंच


एसोसिएशन का सुझाव

EPWA ने बिल का समर्थन करते हुए सरकार से आग्रह किया है कि स्किल-आधारित और बेटिंग गेम्स के बीच स्पष्ट अंतर बनाया जाए, खिलाड़ियों के अधिकारों की रक्षा की जाए और सुरक्षित गेमिंग वातावरण सुनिश्चित

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